रिपोर्ट संपादक राजकुमार यादव

जिलाधिकारी श्रीमती माला श्रीवास्तव आज कलेक्ट्रेट स्थित अपने कक्ष में जिला वृक्षारोपण, पर्यावरण एवं जिला गंगा समिति बैठक की अध्यक्षता कर रहीं थीं। जिलाधिकारी ने कहा कि सभी सम्बन्धित अधिकारी अपने-अपने लक्ष्य के सापेक्ष वृक्षारोपण करना सुनिश्चित करें। लोगों को वृक्षारोपण हेतु प्रेरित करने के साथ ही आस-पास वृक्षारोपण करने के लिए लोगों को जागरूक भी करें। आवंटित वृक्षारोपण लक्ष्यों के सापेक्ष कार्ययोजना, वृक्षारोपण स्थल व रोपित किये जाने वाले पौधों का चयन, पौधों की प्राप्ति हेतु स्त्रोत आदि के सम्बन्ध मे वन विभाग द्वारा सम्बन्धित कार्यालयों को मुहैया करवा दिया गया है। सहजन, आम, अशोक, मोलश्री आदि फलदार छायादार जैसे जल्द तैयार होने वाले पौधों के रोपण पर भी विशेष ध्यान दिया जाये। जिलाधिकारी ने कहा कि गंगा के किनारे के क्षेत्रों में जैविक खेती की संभावना को और अधिक बढ़ाया जाए। उन्होंने कहा कि गंगा में प्लास्टिक न बहे, प्रदूषण न हो और न ही नाली नालो में कूड़ा व प्लास्टिक न डाला जाए, इस पर नियमानुसार कड़े आर्थिक दण्ड का प्राविधान है। बैठक में कहा गया कि गंगा में कूड़ा कचरा डाले वालो पर नियमानुसार जुर्माना वसूलने की कार्यवाही भी जाए।
जिलाधिकारी ने जिला पर्यावरण समिति की बैठक कर सम्बन्धित विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिये कि समस्त नगर पंचायतों एवं नगर पालिका परिषद के सभी वार्डो में घरो से निकलने वाले आपशिष्ट (गीला एवं सूखा कचरा) का पृथक्करण हेतु एवं जनपद में ई-वेस्ट की स्थिति एवं उसके प्रबन्धन हेतु उचित कार्यवाही की जाए। मुख्य विकास अधिकारी ने जिला गंगा समिति को निर्देश दिये कि स्वच्छता की सेवा अभियान के तहत गंगा के किनारे स्थित ग्रामों में जैविक कृषि पद्धति तथा जल सचयन से सम्बन्धित सिंचाई पद्धातियों को बढ़ावा देने के लिए उप निदेशक कृषि को निर्देश दिये। उन्होंने नगर पंचायत/जिला पंचायत राज अधिकारी को निर्देश दिये कि कूड़ा व प्लास्टिक गंगा में प्रवाहित न हो, इस हेतु आवश्यक व्यवस्थाये सुनिश्चित की जाए तथाा नालों व नदी में कूडा न डाला जाए इसके लिए व्यापक रूप से जन जागरूकता कार्यक्रम व प्रवर्तन का कार्य कराना सुनिश्चित करें